उत्तर प्रदेश में गन्ना मूल्य भुगतान किसानों की बड़ी समस्या है। छत्तीसगढ़ में जंगल काटे जा रहे हैं, वहां सरकार धान के रेट अधिक दे रही है। धान के रेट के कारण ही वहां सरकारों की अदला बदली भी हो जाती है। सरकार पूंजीपतियों को ध्यान में रखकर पॉलिसी बनाती है।भारत और अमेरिका के बीच समझौते पर उन्होंने कहा कि सेब का आयात बढ़ेगा, जिसके कारण हिमाचल और कश्मीर के किसान मुसीबत में पड़ जाएंगे। किसानों को फसल चक्र अपनाकर कम खर्चे में अधिक लाभ कमाना होगा। प्रदेश अध्यक्ष राजपाल शर्मा, राष्ट्रीय महासचिव ओमपाल मलिक, बत्तीसा खाप चौधरी चौधरी शौकेंद्र, जिलाध्यक्ष नवीन राठी, पवन खटाना, रवि कुमार, सुभाष काकरान, ओमप्रकाश शर्मा, योगेंद्र पवार, कविता चौधरी मौजूद रहीं।इस अवसर पर भाकियू प्रवक्ता चौधरी राकेश टिकैत ने कहा कि शादी, रस्म तेरहवीं में अत्यधिक खर्च किया जा रहा है, जिसे रोकना होगा। किसानों से अधिक से अधिक पेड़ लगाकर पर्यावरण को बचाने का आह्वान किया। 15 मई को किसान मसीहा चौधरी महेंद्र सिंह टिकैत की पुण्यतिथि सिसौली में मनाई जाएगी। इसी दिन सोरम गांव में खाप पंचायत की तारीख की घोषणा होगी। खाप पंचायत में सामाजिक मुद्दों पर निर्णय लिए जाएंगे
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